Japan में हाल ही में एक तगड़े भूकंप का हमला हुआ है जिसके परिणामस्वरूप हजारों की संख्या Japan में आबादी प्रभावित हुई है। यह भूकंप ने इशिकावा शहर में बहुत तहस नहस मचा दी है और लोगों को हमेशा के लिए डर में डाल दिया है। यहां Japan की समुद्री लहरें भी ऊँची हो गई हैं, जो एक अलर्ट जगाने कारन बन गई हैं। इस भूकंप की तीव्रता रिक्टर स्केल के अनुसार 7.4 मापी है। यह बहुत ही त्रासदीपूर्ण घटना है, जिसके बाद Japan देश के तटीय इलाकों में सुनामी के खतरे को लेकर भी अलर्ट जारी किया गया है। अनुमानों के मुताबिक, यह भूकंप तटीय इलाकों के पास स्थित Japan के पश्चिमी तट के निकट सुनामी के खतरे को बढ़ा रहा है। पश्चिमी तट पर स्थित इस इलाके में 33 हजार से अधिक घरों का बिजली सप्लाई बाधित हो गया है।
Japan के ‘रिंग ऑफ फायर’
Japan एक देश है जिसका मह्वपूर्ण भूभाग भूकंपों के लिए उत्कृष्ट माना जाता है। यह दक्षिणी अपवाह मंथन क्षेत्र में स्थित पैसिफिक रिंग ऑफ फायर का हिस्सा है। पैसिफिक रिंग ऑफ फायर एक जलती हुई सीमा है जहां दुनिया के सबसे ज्यादा भूकंप होते हैं। Japan यहां दुनिया के कई प्लेटों में प्लेट टेक्टोनिक गतिविधि होती है और इसके कारण भूकंप व सुनामी हो सकती है। यह एक आकर्षण क्षेत्र होने के साथ-साथ संकट स्रोत भी है। इसका मुख्य कारण यहां के टेक्टोनिक प्लेटों के मिलने के साथ होने वाली तेज गतिविधि है। जिन प्लेटों के प्रभाव में Japan स्थित है, वे प्लेट टेक्टॉनिक और ओशियनिक प्लेटों कहलाते हैं। जब ये प्लेट टकराते हैं, तो एक भूकंप होता है।
भारतीय दूतावास की तरफ से आपातकालीन नंबर जारी: किस मायने में है उपयोगी?
यहां कोई भी आपदा होती है, तो यह असाधारण होता है कि भारतीय दूतावास गाइडेंस और सहायता के लिएक आपात हेल्पलाइन नंबर औ ईमेल एड्रेस तैयार कर देत है। Japan की इस भयंकरपदा में भारत ने भी जल्दसे इत्रांसपंथित होकर अपने नरेधोने को मदद करने के लिए इन संवेदनशील सुविधाओं की पेशकश की है। भारतीय दूतावास ने इस मुश्किल वक्त में इंसानी मदद के लिए उपेक्षा करके और मानवता भावना जताते हुए अपने नरेधोनों के बीच इंसानी हाथ बढ़ाया है।
सरकारी निर्देशों पर नजर रखने की अपील- Japan में स्थित भारतीय दूतावास ने कहा कि आपदा प्रभावित आबादी किसी भी सहायता के लिए पांच अधिकारियों के अलावा दो ई-मेल आईडी- sscons.tokyo@mea.gov.in और offfseco.tokyo@mea.gov.in पर भी संपर्क कर सकती है। ऐसे में, लोगों को संज्ञान में लेकर विभाजित होना चाहिए कि इस खतरे का उपयोगी ज्ञान हो सकता है ताकि वे आवश्यक सुरक्षा उपायों के साथ तैयार रह सकें।
Japan तोयामा, इशिकावा और निगाता प्रांत में प्रभावित हुए लोग:
जब धरती हिलती है और मानवता पर संकट आता है, तो उस समय राहत और बचाव कार्य बहुत महत्वपूर्ण हो जाते हैं। ऐसा ही सच Japan में महसूस हो रहा है, जहां हाल ही में भूकंप के तीव्र संकट के बाद, सुनामी का भयानक खतरा है। भूकंप के केंद्र के आसपास, जो कि Japan के महत्वपूर्ण द्वीप होन्शू पर स्थित है, लगभग 33,500 घरों की बिजली सप्लाई ठप हो चुकी है। इस वक्त तोयामा, इशिकावा और निगाता प्रांत भी भूकंप के प्रभाव से प्रभावित हुए हैं।
जैसा कि हम जानते हैं कि भूकंपों के बाद हमले के प्रभाव को शांत करने के लिए तत्पर और प्रेक्षागत उत्तरदायी अधिकारी राहत कार्यों में जुटें रहते हैं। इस संदर्भ में भी, Japan में सरकारी और गैर-सरकारी संगठनों के अधिकारियों ने उच्च उत्साह के साथ राहत कार्य के प्रबंधन में शामिल होकर अपनी मदद की है। उन्होंने इस कठिन समय में जोर दिया है ताकि Japan प्रभावित क्षेत्रों में लोगों को त्वरित मदद मिल सके और भूकंप की स्थिति से उन्हें बचाया जा सके।